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- प्रत्येक शुभ कार्य, महत्वपूर्ण कार्य मे गुरु का आशीर्वाद लेना चाहिए।
- सद्गुरुं की आज्ञा का पालन सर्वोपरि है।
- गुरु दर्शन के लिए जाना चाहिए।या समय मिलने पर गुरु से मिलना चाहिए और उसके सानिध्य में रहे
- गुरु के दर्शन कर गुरु आशीर्वाद अवश्य लेना चाहिए।
- कोई भी साधना गुरु से गुप्त रखकर नही करनी चाहिए।
- देव मंदिर या गुरु के पास कभी खाली हाथ नहीं जाना चाहिए।
- किसी भी मंत्र जप सिद्धि के लिए प्रारंभ में एक माला गुरुमंत्र का अवश्य करें।
- सद्गुरुं की प्रसन्नता के लिए यत्न करनी चाहिए। गुरु कार्य में शिथिलता प्रमाद नहीं करना चाहिए।